कैसे जेसन रॉय ने 'मुश्किल साल' को ब्लूमफ़ोंटेन में आतिशी शतक के साथ पीछे छोड़ा
2022 में ख़राब फ़ॉर्म के बाद इंग्लैंड के ओपनर ने पहले वनडे में 79 गेंदों में सैकड़ा जड़ दिया
ईएसपीएनक्रिकइंफ़ो स्टाफ़
29-Jan-2023
ब्लूमफ़ोंटेन में शतकीय पारी के दौरान जेसन रॉय • Getty Images
जेसन रॉय ने शुक्रवार को ब्लूमफ़ोंटेन में तेज़ शतक लगाने के बाद काफ़ी भावनात्मक प्रतिक्रिया दी। उनका कहना था कि एक "मुश्किल साल" के बाद उन्होंने "किसी कोने में बंद रखे जज़्बातों" को खुली छूट देना सही समझा।
रॉय ने 79 गेंदों में अपना 11वां वनडे शतक पूरा किया। हालांकि 2019 विश्व कप के बाद यह किसी आईसीसी के फ़ुल सदस्य देश के ख़िलाफ़ पहला शतक ही था। इस पारी के बावजूद इंग्लैंड, साउथ अफ़्रीका के विरुद्ध हारा, लेकिन इसने साल के अंत में भारत में इंग्लैंड को अपने विश्व कप ख़िताब का बचाव करने के दल में रॉय के मौजूद होने की संभावना को ज़रूर बढ़ा दिया।
रॉय ने 11 चौके और चार छक्के लगाए और जून 2022 में नीदरलैंड्स के ख़िलाफ़ अर्धशतकीय पारी के बाद पहली बार वनडे में 50 का स्कोर पार किया। दूसरा मैच भी रविवार को उसी मैदान पर खेला जाएगा और रॉय ने माना कि हारने के ग़म से अपनी पारी की ख़ुशी उन्हें कहीं ज़्यादा थी।
रॉय ने कहा, "मुझे ज़्यादा नींद नहीं आई। शायद मैं पांच घंटे ही सो पाया। मैं काफ़ी जज़्बाती हो गया था क्योंकि पिछले कुछ महीने काफ़ी कठिन रहे थे। आप कह सकते हैं इतनी अच्छी पांच घंटों की नींद मुझे कुछ समय के बाद मिली है।
"मुझे थोड़ा ग़ुस्सा भी आया, क्योंकि मैंने हर भावना को मन के किसी कोने में बंद करके रख दिया था। मैं मैदान पर उतरा और ठीक वैसे ही खेला जैसा मैं खेलता आया हूं। शायद पिछले दो [सालों] में ऐसा नहीं हो सका है। इस माइंडसेट के साथ ना खेल पाने का आक्रोश भी कहीं ना कहीं था।"
अपने घर पर 2019 विश्व कप से पहले इंग्लैंड ने काफ़ी सारा वनडे क्रिकेट खेलकर अच्छी तैयारी की थी लेकिन वह इस बार ऐसा नहीं कर पाएगा। बांग्लादेश में होने वाले दौरे के बाद वनडे क्रिकेट खेलने का मौक़ा उसे सितंबर में ही मिलेगा, जब न्यूज़ीलैंड और आयरलैंड तीन-तीन मैच खेल जाएंगे। हालांकि रॉय इस मौजूदा सीरीज़ को विश्व कप में अपने चयन की गारंटी नहीं मानते।
रॉय ने कहा, "मैंने अपने करियर में बहुत मैच खेले हैं और काफ़ी सालों से खेलता रहा हूं। मैं जानता हूं एक ख़राब समय के बाद आपको बहुत जल्दी भुला दिया जा सकता है। यह साल हमारे 50-ओवर क्रिकेट के लिए काफ़ी महत्वपूर्ण है। मुझे [विश्व कप खेलने की] पूरी उम्मीद है लेकिन हमें हर एक मैच पर ध्यान रखना होगा। अभी तो सीरीज़ और इस अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट के साल में एक ही मैच हुआ है। मेरे लिए यह पिछले साल काफ़ी कठोर रहा है। यह ज़्यादा मायने रखता है कि आप साल का अंत कैसे करते हैं। पिछले साल की शुरुआत भी अच्छी हुई थी लेकिन वहां से काफ़ी चीज़ें गड़बड़ा गई थी।"
रॉय ने एसए20 में पार्ल रॉयल्स के साथ खेलते हुए फ़ॉर्म में लौटने का कोई अंदेशा नहीं दिया था। उन्होंने आठ पारियों में 33 का सर्वाधिक स्कोर ज़रूर बनाया था, लेकिन टीम में उन्हें अपने इंग्लैंड कप्तान जॉस बटलर का साथ भी मिला था। रॉय ने कहा, "मेरा और जॉस का मैदान पर और उसके बाहर बहुत अच्छा रिश्ता है। हम पूरी ईमानदारी से बात करते हैं और एसए20 में उनके साथ वक़्त बिताने का मुझे फ़ायदा मिला है। मैंने इस साल हुए बातों पर काफ़ी चर्चा की है और शायद इसलिए मैं इस पारी में ज़्यादा आज़ादी के साथ खेल पाया।"
रॉय ने 79 गेंदों में अपना 11वां वनडे शतक पूरा किया। हालांकि 2019 विश्व कप के बाद यह किसी आईसीसी के फ़ुल सदस्य देश के ख़िलाफ़ पहला शतक ही था। इस पारी के बावजूद इंग्लैंड, साउथ अफ़्रीका के विरुद्ध हारा, लेकिन इसने साल के अंत में भारत में इंग्लैंड को अपने विश्व कप ख़िताब का बचाव करने के दल में रॉय के मौजूद होने की संभावना को ज़रूर बढ़ा दिया।
रॉय ने 11 चौके और चार छक्के लगाए और जून 2022 में नीदरलैंड्स के ख़िलाफ़ अर्धशतकीय पारी के बाद पहली बार वनडे में 50 का स्कोर पार किया। दूसरा मैच भी रविवार को उसी मैदान पर खेला जाएगा और रॉय ने माना कि हारने के ग़म से अपनी पारी की ख़ुशी उन्हें कहीं ज़्यादा थी।
रॉय ने कहा, "मुझे ज़्यादा नींद नहीं आई। शायद मैं पांच घंटे ही सो पाया। मैं काफ़ी जज़्बाती हो गया था क्योंकि पिछले कुछ महीने काफ़ी कठिन रहे थे। आप कह सकते हैं इतनी अच्छी पांच घंटों की नींद मुझे कुछ समय के बाद मिली है।
"मुझे थोड़ा ग़ुस्सा भी आया, क्योंकि मैंने हर भावना को मन के किसी कोने में बंद करके रख दिया था। मैं मैदान पर उतरा और ठीक वैसे ही खेला जैसा मैं खेलता आया हूं। शायद पिछले दो [सालों] में ऐसा नहीं हो सका है। इस माइंडसेट के साथ ना खेल पाने का आक्रोश भी कहीं ना कहीं था।"
अपने घर पर 2019 विश्व कप से पहले इंग्लैंड ने काफ़ी सारा वनडे क्रिकेट खेलकर अच्छी तैयारी की थी लेकिन वह इस बार ऐसा नहीं कर पाएगा। बांग्लादेश में होने वाले दौरे के बाद वनडे क्रिकेट खेलने का मौक़ा उसे सितंबर में ही मिलेगा, जब न्यूज़ीलैंड और आयरलैंड तीन-तीन मैच खेल जाएंगे। हालांकि रॉय इस मौजूदा सीरीज़ को विश्व कप में अपने चयन की गारंटी नहीं मानते।
रॉय ने कहा, "मैंने अपने करियर में बहुत मैच खेले हैं और काफ़ी सालों से खेलता रहा हूं। मैं जानता हूं एक ख़राब समय के बाद आपको बहुत जल्दी भुला दिया जा सकता है। यह साल हमारे 50-ओवर क्रिकेट के लिए काफ़ी महत्वपूर्ण है। मुझे [विश्व कप खेलने की] पूरी उम्मीद है लेकिन हमें हर एक मैच पर ध्यान रखना होगा। अभी तो सीरीज़ और इस अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट के साल में एक ही मैच हुआ है। मेरे लिए यह पिछले साल काफ़ी कठोर रहा है। यह ज़्यादा मायने रखता है कि आप साल का अंत कैसे करते हैं। पिछले साल की शुरुआत भी अच्छी हुई थी लेकिन वहां से काफ़ी चीज़ें गड़बड़ा गई थी।"
रॉय ने एसए20 में पार्ल रॉयल्स के साथ खेलते हुए फ़ॉर्म में लौटने का कोई अंदेशा नहीं दिया था। उन्होंने आठ पारियों में 33 का सर्वाधिक स्कोर ज़रूर बनाया था, लेकिन टीम में उन्हें अपने इंग्लैंड कप्तान जॉस बटलर का साथ भी मिला था। रॉय ने कहा, "मेरा और जॉस का मैदान पर और उसके बाहर बहुत अच्छा रिश्ता है। हम पूरी ईमानदारी से बात करते हैं और एसए20 में उनके साथ वक़्त बिताने का मुझे फ़ायदा मिला है। मैंने इस साल हुए बातों पर काफ़ी चर्चा की है और शायद इसलिए मैं इस पारी में ज़्यादा आज़ादी के साथ खेल पाया।"